| About Me |
संयुक्त महामंत्री,BMS,Bihar
शाखा प्रबंधक, उत्तर बिहार ग्रामीण बैंक,MMG II , ZONAL Secretary, All India Gramin Bank Officers Organisation, Joint General Secretary,BMS. Bihar, Palmist, Numerologist, Magician
HAVING VAST EXPERIENCE OF RURAL AND AGRICULTURE
CREDIT DELIVERY SYSTEM, GROUP MECHANISM,
PIONEERED IN SELF HELP GROUP FORMATION,
LIBERATED 275 BATAIDAR FARMERS FROM थे
GRIP OF MONEY LENDERS, MAKING CONTINUOUS EFFORT तो
EDUCATE FARMERS FOR ALTERNATE CROP LIKE
सुगन्धित एवं औषधीय पौधा उत्पादन, जैविक खाद का प्रयोग, वैकल्पिक कीटनाशक
जैसे नीम, महुआ, गौमूत्र आदि का प्रयोग.
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कटिहार जिला भारतीय मजदूर संघ का संस्थापक जिला मंत्री,
वर्तमान में बिहार प्रदेश मंत्री, ग्रामीण बैंकर्स क्लब का संस्थापक,
संयोयक, कोशी स्मृति शेष मंच
ज्योतिष, अंक-ज्योतिष, हस्तरेखा, वास्तु , अक्युप्रेशर, जादू में पारंगत.
कविता, निबंध, कहानी, ससामयिक विषय पर लेखन एवं प्रकाशन. ***************************
मानवता के लिए उषा की किरण जगाने वाले हम
शोषित, पीडित, दलित जनों का भाग्य बनाने वाले हम
हम अपने श्रम सीकर से ऊसर में स्वर्ण उगा देंगे
कंकड पत्थर समतल कर कांटों में फूल खिला देंगे
सतत परिश्रम से अपने हैं वैभव लाने वाले हम
शोषित, पीडित, दलित जनों का भाग्य बनाने वाले हम
अन्य किसी के मुंह की रोटी हरना अपना काम नहीं
पर अपने अधिकार गंवा कर, कर सकते आराम नहीं
अपने हित औरों के हित का मेल मिलाने वाले हम
शोषित, पीडित, दलित जनों का भाग्य बनाने वाले हम
रोटी, कपडा, मकान, शिक्षा आवश्यकता जीवन की
व्यक्ति और परिवार सुखी हो तभी मुक्ति होती सच्ची
हँसते – हँसते राष्ट्र कार्य में शक्ति लगाने वाले हम
शोषित, पीडित, दलित जनों का भाग्य बनाने वाले हम
भारत माता का सुख गौरव प्राणों से भी प्यारा है
युग – युग से मानव हित करना शाश्वत धर्म हमारा है
जीवन शक्ति उसी माता को भेंट चढाने वाले हम
शोषित, पीडित, दलित जनों का भाग्य बनाने वाले हम
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चन्दन हँ इस देश की मिटटी: तपोभूमि हर ग्राम हँ |
हर बाला देवी की प्रतिमा बच्चा-बच्चा राम हँ ||
जिसके सैनिक समरभूमि में;गाया करते गीता हँ,
जहा खेत में हल के निचे: खेला करती सीता हँ |
जीवन का आदर्श जहा पर परमेश्वर का धाम हँ,
हर बाला देवी की प्रतिमा बच्चा-बच्चा राम हँ |
जहा कर्म से भाग्य बदलना श्रम- निष्ठां कल्याणी हँ ,
त्याग और तप की गाथाये गाती कवी की वाणी हँ |
ज्ञान जहाँ का गंगाजल-सा निर्मल औ अविरामी हँ,
हर बाला देवी की प्रतिमा बच्चा-बच्चा राम हँ |
हर शरीर मंदिर सा पावन; हर मानव उपकारी हँ,
जहाँ शेर बन गये खिलोने, गाय जहा माँ प्यारी हँ |
जहा सबेरा शंख बजता, लोरी गाती शाम हँ ,
हर बाला देवी की प्रतिमा बच्चा-बच्चा राम हँ | |